(अरुणाभ रतूड़ी जनश्वर):- महान स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, देवभूमि के वीर सपूत, अमर शहीद श्रीदेव सुमन जी की पुण्यतिथि पर शत्-शत् नमन।
श्रीदेव सुमन जी भारत के स्वतंत्रता संग्राम के एक अद्भुत एवं प्रेरणादायक नेता थे, जिन्होंने अपने बलिदान और अदम्य साहस से देश की आज़ादी के लिए एक अनमोल योगदान दिया। देवभूमि—जो कि अब उत्तराखंड के नाम से जाना जाता है—के ये सपूत अपने जीवन को देश की आज़ादी की आहुति देने वाले महान क्रांतिकारियों में गिने जाते हैं।
श्रीदेव सुमन जी ने न केवल अंग्रेज़ी औपनिवेशिक शासन के विरुद्ध अनेक आंदोलन चलाए, बल्कि लोकहित के लिए भी सदैव आवाज उठाई। वे साहित्य और पत्रकारिता के माध्यम से जन जागरण का कार्य भी करते थे एवं लोगों को स्वतंत्रता संग्राम में भाग लेने के लिए प्रेरित करते थे। उनका जीवन त्याग, समर्पण और देशभक्ति की सर्वोच्च मिसाल है।
उनकी पुण्यतिथि पर हम सबको उनकी इस महान सेवा और बलिदान को याद करते हुए, उनके आदर्शों को जीवन में अपनाने का संकल्प लेना चाहिए। देश के प्रति उनका निष्ठा, साहस और समर्पण हर भारतीय के लिए प्रेरणा स्रोत है।
आज, जब हम स्वतंत्रता की खुशियाँ मना रहे हैं, तो हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि यह स्वतंत्रता ऐसे वीरों के अथक प्रयासों और बलिदान का परिणाम है। श्रीदेव सुमन जी जैसे अमर शहीदों को हमारा विनम्र नमन और श्रद्धांजलि। उनकी स्मृति सदैव हमारे दिलों में जीवित रहे।
शत्-शत् नमन, अमर रहे श्रीदेव सुमन जी!