अरुणाभ रतूड़ी
राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने सोमवार को ‘अन्तर्राष्ट्रीय नशा निरोधक दिवस’ के अवसर पर राजकीय दून मेडिकल कॉलेज में आयोजित राज्य स्तरीय कार्यशाला में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर उन्होंने उपस्थित छात्र-छात्राओं को नशा-मुक्ति शपथ भी दिलाई। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि मादक पदार्थों व नशीली दवाओं का उपयोग समाज के लिए एक गंभीर समस्या है। छोटे गांव से लेकर बड़े-बड़े महानगरों तक नशीली दवाओं के सेवन का बढ़ता उपयोग चिंताजनक है। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार टेक्नोलॉजी में तीव्र गति से प्रगति हो रही है उसी प्रकार नशीली दवाओं और मादक द्रव्यों का उत्पादन, प्रसारण, वितरण और सेवन भी बढ़ रहा है।
राज्यपाल ने कहा कि मादक पदार्थों के सेवन और वितरण की रोकथाम में समाज के सभी वर्गों को समन्वित रूप से प्रयास करने होंगे। उन्होंने कहा कि नशे की रोकथाम में जनजागरूकता बेहद जरूरी है। राज्यपाल ने युवाओं से आह्वान किया कि वे अपनी दृढ़ इच्छाशक्ति, आत्मनियंत्रण और आत्मानुशासन के बल पर नशे व मादक पदार्थों के सेवन से स्वयं को दूर रखें।
राज्यपाल ने कहा कि नशा मुक्त समाज बनाने के लिए प्रत्येक व्यक्ति के दृढ़ संकल्प के साथ-साथ समाज के हर वर्ग का सहयोग, इसे समाप्त करने में बड़ी भूमिका निभा सकता है। उन्होंने कहा कि कर्तव्यनिष्ठ और कार्यदक्ष पुलिस प्रणाली भी नशीले दवाओं के दुरूपयोग के खतरों को कम करने में सहायक होंगे। प्रशासन, पुलिस और नागरिक समाज को प्रतिबद्धता के साथ इसे समाप्त करने के लिए कार्य करना होगा। उन्होंने कहा कि हमारे शैक्षिक, सामाजिक, राजनैतिक और धार्मिक क्षेत्रों के आपसी तालमेल और समन्वित प्रयासों से नशीली दवाओं के दुरुपयोग के खतरों के बारे में जागरूकता पैदा करके, नशा मुक्त समाज का निर्माण करने में अहम भूमिका निभाएंगे।
राज्यपाल ने कहा कि नशीली दवाओं के दुरुपयोग और अवैध तस्करी के खिलाफ अन्तर्राष्ट्रीय दिवस पर आयोजित आज की इस कार्यशाला में उपस्थित सभी छात्र-छात्राएं अवश्य ही एक संकल्प लेकर नशा मुक्त अभियान में अपनी अहम भूमिका निभाएंगे।
इस अवसर पर उपस्थित स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि नशे को समाज से समाप्त करने के लिए व्यापक जन जागरूकता अभियान बेहद जरूरी है। लोगों को इसके दुष्प्रभाव के बारे में समय-समय पर बताया जाना महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा इस ओर कारगर कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा 2025 तक ड्रग फ्री देवभूमि का लक्ष्य तय किया गया है इसके लिए उन्होंने जनसहयोग की भी आवश्यकता बतायी। इस अवसर पर स्वास्थ्य मंत्री ने विभिन्न स्वास्थ्य योजनाओं की जानकारी भी उपस्थित लोगों को दी।
कार्यक्रम में दून मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. आशुतोष सयाना, अपर सचिव स्वास्थ्य अमनप्रीत कौर, रजिस्ट्रार हेमवती नंदन बहुगुणा चिकित्सा शिक्षा विश्वविद्यालय डॉ. एम. के. पंत, कार्यक्रम के आयोजन अध्यक्ष डॉ. देवव्रत राय सहित दून मेडिकल कॉलेज के छात्र-छात्राएं एवं अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।