जिलाधिकारी हिमांशु खुराना ने रूपकुंड ट्रैक का चार दिवसीय भ्रमण कर व्यवस्थाओं का लिया जायजा। WWW.JANSWAR.COM

ARUNABH RATURI.JANSWAR.COM

रूपकुंड ट्रैक का चार दिवसीय भ्रमण कर डीएम ने व्यवस्थाओं का लिया जायजा।ईको टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए नए स्थल विकसित करने पर दिया जोर।सुदूरवर्ती गांव दीदना में चौपाल लगाकर सुनी स्थानीय लोगों की समस्याएं।

चमोली 16 अक्टूबर,2023- जिले में धार्मिक, साहसिक एवं ईको टूरिज्म को बढ़ावा देने और ट्रैक मार्ग पर जरूरी सुविधाओं के विकास हेतु जिलाधिकारी हिमांशु खुराना ने वन विभाग एवं संबधित एजेंसियों के साथ प्रसिद्व रूपकुंड ट्रैक का चार दिवसीय भ्रमण करते हुए करीब 60 किलोमीटर कठिन पैदल दूरी तय कर व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया। इस दौरान जिलाधिकारी ने वन क्षेत्रों में ईको टूरिज्म के लिए नए स्थल विकसित करने पर जोर दिया। जिलाधिकारी ने देवाल ब्लाक के कुलिंग गांव से रूपकुंड की पैदल ट्रैकिंग शुरू की। कुलिंग से दीदना, वेदनी बुग्याल, पाथरनचीना, भगवावासा होते हुए जिलाधिकारी रूपकुंड पहुॅचे। इस दौरान जिलाधिकारी ने वन विभाग एवं संबधित एजेंसियों को निर्देशित किया कि रूपकुंड ट्रैक पर ईको टूरिज्म साइट्स विकसित करने के साथ इसका संचालन, विकास एवं रखरखाव की समुचित व्यवस्था की जाए। ईको साइट्स के विकास में प्राकृतिक सामग्री का इस्तेमाल करें। क्षेत्र में ईको विकास समिति का गठन करते हुए स्थानीय युवाओं को नेचर गाइड के रूप में प्रशिक्षित किया जाए। ताकि स्थानीय लोगों को स्वरोजगार के अतिरिक्त अवसर मिल सके। चार दिवसीय भ्रमण के दौरान जिलाधिकारी ने सुदूरवर्ती गांव दीदना में स्थानीय लोगों की समस्याएं भी सुनी और उनके निराकरण हेतु संबधितों को निर्देशित किया। बताते चले कि प्रसिद्व नंदादेवी राजजात यात्रा हर 12 साल में कर्णप्रयाग के पास नौटी गांव से रूपकुंड के पास होमकुंड तक आयोजित की जाती है। जबकि हर साल कुरूड़ से वेदनी तक मां नन्दा की यात्रा होती है। इस कठिन पवित्र यात्रा में हजारों लोंग शामिल होते है। रूपकुंड ट्रैक मार्ग सोलो ट्रैकिंग और एडवेंचर ट्रैकिंग के लिए भी प्रसिद्व है। सुरम्य पहाड़ी चोटियों के बीच स्थित रूपकुंड झील अपने अनसुलझे रहस्य के लिए सुर्खियों में रही है, क्योंकि यहां पुरापाषाण युग के मानव कंकालों और घोड़ों के अवशेष देखे जा सकते हैं। रूपकुंड ट्रेक पर दूर-दूर तक घने जंगल हैं। यहां से त्रिशूली और नन्दाघुंघटी पर्वत श्रृंखलाएं दिखाई देती है। चारों तरफ पर्वतों की घाटियां इस जगह को और भी ज्यादा खूबसूरत बना देती हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *